प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आईएएस अधिकारी संजीव हंस की अवैध कमाई से जुड़े मामले में उनके दो सहयोगी को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार हुए लोगों में पवन धुत (दिल्ली स्थित धुत इंफ्रा कंपनी प्राइवेट लिमिटेड के मालिक) और उत्तम कुमार डागा (कोलकाता में माइनिंग एंड इंजीनियरिंग कंपनी के मालिक) शामिल हैं। इन दोनों को दिल्ली और कोलकाता से गिरफ्तार कर पटना लाया गया है।
अवैध वित्तीय लेन-देन में थे शामिल
ईडी के मुताबिक, पहले से जेल में बंद पुष्पराज बजाज ने संजीव हंस और उनके सहयोगियों की काली कमाई को ठिकाना लगाने में अहम भूमिका निभाई थी। पुष्पराज के रिश्तेदार पवन धुत और उत्तम डागा भी संजीव हंस के अवैध वित्तीय लेन-देन में शामिल थे। धुत को दिल्ली के छतरपुर स्थित अपने फार्म हाउस से गिरफ्तार किया गया, जबकि उत्तम डागा को कोलकाता से गिरफ्तार कर पटना लाया गया है।
न्यायिक हिरासत में पटना के बेउर जेल भेजा गया
दोनों आरोपियों को पटना स्थित पीएमएलए कोर्ट में पेश किया गया, जहां उन्हें न्यायिक हिरासत में पटना के बेउर जेल भेज दिया गया। ईडी की जांच में यह पाया गया कि पवन धुत की कंपनी के खातों से संजीव हंस के 60 करोड़ रुपये से अधिक की काली कमाई को घुमाया गया था, जबकि उत्तम डागा ने अपनी कंपनी के माध्यम से 12 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध कमाई को छिपाने की कोशिश की थी।
अब तक 14 से ज्यादा लोग गिरफ्तार
इस मामले में अब तक आईएएस संजीव हंस, पूर्व विधायक गुलाब यादव समेत 14 लोग गिरफ्तार हो चुके हैं। सभी आरोपी जेल में बंद हैं, और ईडी का कहना है कि मामले में जल्द ही और गिरफ्तारियां हो सकती हैं। इस मामले में ईडी ने 3,000 पेज की एक चार्जशीट दायर की है, जिसमें धुत इंफ्रा और माइनिंग एंड इंजीनियरिंग कंपनी के मालिकों की गिरफ्तारी का उल्लेख किया गया है। जांच अभी भी जारी है, और अधिकारियों का कहना है कि इसमें कई और तथ्य सामने आने की संभावना है।