नई दिल्ली, आईएएनएस। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने घर खरीदारों के साथ धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश के एक मामले में दिल्ली और मुंबई सहित चार शहरों में जेपी समूह की कंपनियों और उनके प्रवर्तकों/निदेशकों के परिसरों पर छापेमारी की।
दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद और मुंबई में 15 स्थानों पर छापेमारी
केंद्रीय एजेंसी ने रविवार को एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि उसने दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद और मुंबई में 15 स्थानों पर 23 मई को छापेमारी की। इस दौरान कई वित्तीय कागजात, डिजिटल डिवाइस और अचल संपत्तियों के कागजात बरामद हुए, जो इन कंपनियों के प्रवर्तकों, उनके परिवार के सदस्यों और समूह की कंपनियों के नाम पर हैं। इसके अलावा 1.70 करोड़ रुपए की नकदी भी बरामद हुई है।
यह कार्रवाई समूह की कंपनियों जेपी इंफ्राटेक, जयप्रकाश एसोसिएट्स (जेएएल) और अन्य के खिलाफ धन शोधन के एक मामले की जांच के सिलसिले में की गई है।
जेएएल के साथ कारोबार करने वाली कंपनियों पर भी छापेमारी
चारों शहरों में जेएएल और संबंधित कंपनियों के परिसरों के अलावा उनके प्रवर्तकों/निदेशकों के घरों तथा कार्यालयों की भी तलाशी ली गई। कुछ ऐसी कंपनियों पर भी छापेमारी की गई, जिनके जेएएल के साथ कारोबारी रिश्ते हैं। इनमें गौरसंस इंडिया, गुलशन होम्ज और महागुन रियल एस्टेट शामिल हैं।
ईओडब्ल्यू और यूपी पुलिस की एफआईआर के आधार पर ईडी ने शुरू की जांच
जेएएल, जेपी इंफ्राटेक (जेआईएल) और सहयोगी कंपनियों और उनके प्रवर्तकों/निदेशकों के खिलाफ दिल्ली की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) तथा उत्तर प्रदेश पुलिस ने आईपीसी की विभिन्न धाराओं में मामले दर्ज किए थे। इन्हीं एफआईआर को आधार बनाकर ईडी ने जांच शुरू की थी।
इन कंपनियों पर आरोप है कि उन्होंने जेपी विशटाउन (जेआईएल) और जेपी ग्रीन्स (जेएएल) के प्रोजेक्ट में निवेश के लिए घर खरीदने वालों को आकर्षित करने के लिए बड़े पैमाने पर धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश की।
ईडी ने बताया कि मामले में आगे की जांच जारी है।