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Sambhal Masjid Survey मामले में मुस्लिम पक्ष को झटका, हाईकोर्ट ने कहा- सर्वे जायज

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शाही जामा मस्जिद, संभल के सर्वे आदेश को सही ठहराया। मुस्लिम पक्ष की याचिका खारिज, सर्वे को रिकॉर्ड का हिस्सा बनाने के निर्देश।

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Dhiraj Dhillon
Advocate Hari Shankar Jain

Photograph: (Google)

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नई दिल्ली, वाईबीएन डेस्क।संभल की शाही जामा मस्जिद सर्वे मामले में मुस्लिम पक्ष को बड़ा झटका लगा है। इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने संभल की शाही जामा मस्जिद में सर्वेक्षण के आदेश को बरकरार रखते हुए मुस्लिम पक्ष की याचिका को खारिज कर दिया है। अदालत ने स्पष्ट किया कि निचली अदालत का सर्वे आदेश विधिक रूप से सही है और इसमें कुछ भी गलत नहीं है। यह फैसला न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल की अध्यक्षता वाली एकल पीठ ने सुनाया। मुस्लिम पक्ष द्वारा दाखिल सिविल पुनरीक्षण याचिका पर 13 मई को सुनवाई पूरी होने के बाद कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था। याचिका में निचली अदालत की कार्यवाही पर रोक लगाने की मांग की गई थी, जो शाही जामा मस्जिद से जुड़े मूल मुकदमे में जारी थी। 

हाईकोर्ट ने खारिज की मुस्लिम पक्ष की अपील

मामले में  हिंदू पक्ष के अधिवक्ता हरि शंकर जैन ने सोमवार को बताया- "कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की दलील को खारिज करते हुए साफ कहा कि सर्वे वैध है। जो सर्वे हुआ है, उसे पढ़ा जाएगा और उसे रिकॉर्ड का हिस्सा बनाया जाएगा। यदि वे सुप्रीम कोर्ट जाते हैं, तो हम उनका स्वागत करने को तैयार हैं।" हिंदू पक्ष के दूसरे अधिवक्ता गोपाल शर्मा ने बताया कि इस फैसले साफ हो गया कि सिविल जज (सीनियर डिवीजन), संभल द्वारा दिया गया सर्वे आदेश सही था। एडवोकेट शर्मा ने बताया- "हमने 19 नवंबर 2024 को याचिका दाखिल की थी और कोर्ट ने सर्वे का आदेश दिया था। यह सर्वे दो चरणों में किया गया। मस्जिद प्रबंधन समिति इस आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट गई थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें हाईकोर्ट का रुख करने को कहा था।"

मस्जिद परिसर के बाहर बताया गया था कुआं

29 अप्रैल को सुप्रीम कोर्ट ने शाही जामा मस्जिद की प्रबंधन समिति को उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा दाखिल स्थिति रिपोर्ट पर जवाब देने के लिए दो सप्ताह का समय दिया था। उस रिपोर्ट में कहा गया था कि विवादित कुआं मस्जिद परिसर के बाहर स्थित है। 

19 नवंबर, 2024 को शुरू हुआ था सर्वे

लोअर कोर्ट के आदेश पर 19 नवंबर, 2024 को संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वे शुरू हुआ। सर्वे टीम के पहुंचते ही मौके पर भीड़ जुट गई थी और कुछ ही देर सर्वे करने के बाद टीम लौट गई। 24 नवंबर को टीम फिर सर्वे करने पहुंची। इस दिन बड़ी मात्रा में भीड़ इकट्ठा हुई। जिसके बाद संभल में हिंसा हो गई। इस हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हुई थी और 29 पुलिसकर्मी भी घायल हो गए थे। संभल हिंसा मामले ने देशभर में तूल पकड़ लिया था। हालांकि प्रशासन की सूझबूझ से मामले पर काबू कर लिया गया। मामले की निष्पक्ष जांच के लिए न्यायिक जांच आयोग का गठन किया गया। 

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