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UP News : एक्सप्रेसवे के किनारे विकसित हो रहे IMLC हब बनाएंगे यूपी को मैन्युफैक्चरिंग-लॉजिस्टिक्स का पावरहाउस

यूपी अब केवल उपभोक्ता राज्य नहीं रह गया है, बल्कि मैन्युफैक्चरिंग और लॉजिस्टिक्स के क्षेत्र में भी तेजी से आगे बढ़ रहा है। राज्य सरकार 26 जिलों में 27 IMLC विकसित कर रही है जिससे रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।

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Abhishek Mishra
IMLC hubs being developed along expressway

यूपी बनेगा मैन्युफैक्चरिंग और लॉजिस्टिक्स का हब

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लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। उत्तर प्रदेश अब केवल एक बड़ा उपभोक्ता बाजार नहीं रहा, बल्कि यह देश के सबसे प्रमुख औद्योगिक और लॉजिस्टिक केंद्र के रूप में तेजी से उभर रहा है। राज्य सरकार ने इंटीग्रेटेड मैन्युफैक्चरिंग एंड लॉजिस्टिक्स क्लस्टर्स (IMLC) की स्थापना की महत्वाकांक्षी योजना को जमीन पर उतारना शुरू कर दिया है। उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) 26 जिलों में 27 IMLC नोड्स विकसित करने जा रही  हैं, जो राज्य की औद्योगिक यात्रा में एक नया अध्याय जोड़ेंगे। यह परियोजना उत्तर प्रदेश को देश की औद्योगिक दिशा तय करने वाले प्रमुख राज्यों की कतार में ला खड़ा करेगी।

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निवेश को मिलेगा बढ़ावा

औद्योगिक नीति में पारदर्शिता और ‘ईज ऑफ डूइंग बिजनेस’ पर फोकस करते हुए सरकार देश-विदेश के निवेशकों को आमंत्रित कर रही है। इन क्लस्टर्स में रक्षा, भारी विनिर्माण, और लॉजिस्टिक्स क्षेत्रों के लिए विशेष भूखंड चिन्हित किए गए हैं। यूपीडा ने PPP मॉडल के तहत इंडस्ट्रियल पार्कों के निर्माण के लिए इच्छुक निवेशकों से EOIs और आवेदन भी आमंत्रित किए हैं।

कनेक्टिविटी बनेगी औद्योगिक ग्रोथ की रीढ़

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इन लॉजिस्टिक्स क्लस्टर्स की रणनीतिक लोकेशन इनकी सबसे बड़ी ताकत है। सभी नोड्स प्रमुख एक्सप्रेसवे और डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (DFC) के 1 किमी के दायरे में स्थित हैं। इससे उद्योगों को देश के अलग-अलग कोनों से सहज और तीव्र कनेक्टिविटी मिलेगी। इनमें मल्टी-सिटी कनेक्टिविटी, रेल और एयरलिंक, और एक्सप्रेसवे एक्सेस जैसी प्रमुख सुविधाएं शामिल हैं। प्रत्येक क्लस्टर को समग्र बुनियादी ढांचे से सुसज्जित किया जा रहा है। इसमें चौड़ी सड़कें, 24 घंटे बिजली, स्ट्रीट लाइटिंग, जल आपूर्ति और निकासी की आधुनिक व्यवस्था, हरित क्षेत्र, ऑनलाइन भू-आवंटन और केंद्रीकृत निवेश सेवा केंद्र जैसी सुविधाएं शामिल हैं।

क्षेत्रीय विकास और रोजगार के द्वार खुलेंगे

इन औद्योगिक क्लस्टर्स की मदद से उन क्षेत्रों तक विकास पहुंचेगा, जहां अब तक औद्योगीकरण की गति धीमी रही है। इससे न सिर्फ क्षेत्रीय असंतुलन दूर होगा, बल्कि लाखों युवाओं को अपने ही जिले में रोजगार के अवसर मिल सकेंगे। इस योजना का उद्देश्य कुशल जनशक्ति और संसाधनों का उपयोग करते हुए प्रदेश में संतुलित औद्योगिक विस्तार को बढ़ावा देना है।

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औद्योगिक नवाचार की दिशा में यूपी 

सीएम योगी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश औद्योगिक परिवर्तन की राह पर अग्रसर है। IMLC प्रोजेक्ट के अलावा डिफेंस कॉरिडोर, मेगा फूड पार्क, टेक्सटाइल क्लस्टर और मेडिकल डिवाइसेज़ पार्क जैसी योजनाएं राज्य की आर्थिक संरचना को नई मजबूती प्रदान कर रही हैं। यह सभी परियोजनाएं मिलकर उत्तर प्रदेश को एक आत्मनिर्भर, औद्योगिक रूप से सशक्त और भविष्य-केन्द्रित राज्य में बदलने की ओर अग्रसर हैं।

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