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Crime News: जाली मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाकर हड़पी सैन्य अधिकारी की 150 करोड़ की जमीन, नामांतरण के दौरान खुला राज

मोहनलालगंज स्थित स्व. सैन्य अधिकारी सूरत सिंह की करीब 150 करोड़ की जमीन को पिता-पुत्र ने जाली मृत्यु प्रमाण पत्र के ज़रिये 16 साल पहले हड़प लिया। जमीन को फर्जी दस्तावेजों से अपने नाम कराकर बाद में दो महिलाओं और बिल्डर की मदद से प्लाटिंग कर बेच दिया गया।

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Shishir Patel
MOHANLALGANJ

फाइल फोटो।

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लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता ।राजधानी के मोहनलालगंज की बहु-मूल्य जमीन पर कब्जे की एक चौंकाने वाली साजिश सामने आई है। स्वर्गीय सैन्य अधिकारी सूरत सिंह की करीब 150 करोड़ रुपये मूल्य की 20 एकड़ जमीन को जालसाजों ने फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र के सहारे अपने नाम करा लिया। यह फर्जीवाड़ा 16 साल तक दबा रहा और तब उजागर हुआ, जब सैन्य अधिकारी की पत्नी ने उनके देहांत के बाद बेटे के नाम नामांतरण कराने की प्रक्रिया शुरू की।

चकबंदी विभाग के कर्मियों की मिलीभगत से सूरत सिंह को मृत घोषित कर दिया 

रामपुर के बिलासपुर निवासी त्रिलोचन कौर (70) ने बताया कि उनके पति सूरत सिंह ने लखनऊ के ग्राम जैतीखेड़ा में दो बार में करीब 20 एकड़ जमीन खरीदी थी। वह सेना में तैनात थे और अधिकतर समय ड्यूटी पर रहते थे। इस दौरान गुरविंदर सिंह ने चकबंदी विभाग के कर्मियों की मिलीभगत से सूरत सिंह को मृत घोषित कर, खुद को उनका भाई बताते हुए जून 2009 में 11 एकड़ जमीन अपने पिता निर्मल सिंह के नाम करा दी। यह सब तब हुआ जब सूरत सिंह जीवित थे।इसके बाद नवंबर 2009 में 3.5 एकड़ जमीन मनोरमा राय के नाम मात्र 10 लाख रुपये में बेची गई, और मार्च 2010 में 3 एकड़ जमीन रेनू सिंह देव निवासी गाजियाबाद को 4.60 लाख में बेच दी गई।2018 में इन सभी ने मिलकर चंद्रशेखर मोती राम जी देशभ्रतार के नाम जमीन का बैनामा कर दिया। 

सभी बैनामों में गुरविंदर और गोकुल गवाह बने

चंद्रशेखर ने अपने एजेंट गोकुल शंकर राव के जरिये जमीन की प्लाटिंग कर 20 लोगों को जमीन बेच दी। सभी बैनामों में गुरविंदर और गोकुल गवाह बने।21 नवंबर 2022 को सूरत सिंह की मृत्यु के बाद सितंबर 2024 में जब त्रिलोचन कौर अपने बेटे अमरजीत के साथ जमीन का नामांतरण कराने लखनऊ आयीं, तब फर्जीवाड़े का पर्दाफाश हुआ। डिप्टी रजिस्ट्रार कार्यालय की जांच में यह सामने आया कि जाली दस्तावेजों और साजिश के तहत जमीन को अवैध रूप से स्थानांतरित कर दिया गया था।पीड़िता की शिकायत पर डीसीपी पश्चिम विश्वजीत श्रीवास्तव के निर्देश पर थाना वजीरगंज पुलिस ने गुरविंदर सिंह, निर्मल सिंह, मनोरमा राय, रेनू सिंह, चंद्रशेखर, गोकुल शंकर राव सहित तत्कालीन कानूनगो व लेखपाल के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की है। वहीं पुलिस का कहना है कि पूरे मामले की जांच की रही है ।

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