/young-bharat-news/media/media_files/2025/08/20/6136302398537321039-2025-08-20-10-40-20.jpg)
Photograph: (shahjahanpur netwrk)
Listen to this article
0.75x1x1.5x
00:00/ 00:00
शाहजहांपुर वाईबीएन संवाददाता। स्ट्रीट सेवर्स वेलफेयर सोसायटी, जीव संयोग फाउंडेशन और बृजबिहारी कृष्ण सेवा समिति के संयुक्त के बैनर तले निकाले गए मार्च में पशु प्रेमी और डॉक्टर्स ,सामाजिक संगठन के कार्यकर्ता भी शामिल रहे। मार्च में शामिल पशु प्रेमियों ने आवारा कुत्तों को सड़कों से हटाने और शेल्टर होम में रखने संबंधी आदेश को वापस लेने की मांग की। उनका कहना था कि यह आदेश पशुओं के जीवन के लिए खतरा बन सकता है। घंटाघर से पैदल मार्च बहादुरगंज से इस्लामिया कॉलेज के सामने से होते हुए कलक्ट्रेट पर आकर संपन्न हुआ। इस बीच ज्ञापन भी सौंपा गया।
/filters:format(webp)/young-bharat-news/media/media_files/2025/08/20/6136302398537321040-2025-08-20-10-40-41.jpg)
प्रदर्शनकारियों ने हाथों में तख्तियां और बैनर लेकर लेकर सैकड़ों पशु प्रेमीमंगलवार को सड़क पर उतरे। प्रेमियों ने कहा कि दिल्ली जैसे महानगर में लाखों कुत्ते हैं, लेकिन उनके लिए पर्याप्त शेल्टर होम उपलब्ध नहीं हैं। ऐसे में यह आदेश न केवल अव्यावहारिक है बल्कि कुत्तों के जीवन के लिए भी खतरनाक साबित होगा।
पशु प्रेमियों ने कहा कि इसकी क्या गारंटी है कि शेल्टर होम में डाॅग को दो वक्त की रोटी मिलेगी या नहीं। उनका कहना है कि सिर्फ स्ट्रीट डाॅग ही क्यों, पूरे देश से कुत्तों को ही हटा दिया जाए यदि इतनी ही दिक्कत है तो। शेल्टर होम में कुत्तों को भेजना कोई उपाय नहीं है। जरूरी है कि कुत्तों का वैक्सीनेशन कराया जाए। जिससे कि यदि वह किसी को काट भी ले तो कोई जानमाल का नुकसान न हो। प्रदर्शन कर रहे लोगों ने गुस्से में सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर एतराज जताया है। उन्होंने कहा कि बेजुबान जानवर के लिए बोलने वाला कोई नहीं है इस वजह से उन पर अत्याचार किया जा रहा है। सर्वोच्च न्यायालय से अपील की कि वह दिल्ली में आठ हफ़्तों के भीतर कुत्तों को शेल्टर होम में भेजने वाले आदेश पर पुनर्विचार कर उसको वापस लिया जाए। ।
कुत्तों को कैद में रखना समस्या का हल नहीं है। प्रदर्शन में पैदल मार्च में अर्पित ग्रोवर, विवेक सचदेवा, पीयूष पांडेय, रिषभ, अभय, अनीता गुप्ता आदि मौजूद रहे।
यह भी पढ़ें:
Advertisment