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अरविंद कुमार ने जिलाधिकारी को प्रार्थनापत्र सौंपा Photograph: (वाईबीएन नेटवर्क)
शाहजहांपुर वाईबीएन संवाददाता ।तहसील जलालाबाद के ग्राम दुलरामई में एक भव्य शिव मंदिर को तहसील प्रशासन द्वारा बिना किसी पूर्व सूचना या कानूनी आदेश के मंदिर परिसर बुलडोजर से गिरा दिए जाने का मामला सामने आया है। मंदिर के निर्माणकर्ता अरविंद कुमार ने जिलाधिकारी को प्रार्थनापत्र सौंपकर इस कार्रवाई को विधिविरुद्ध बताया है।प्रार्थना पत्र के अनुसार, अरविंद कुमार द्वारा राजस्व ग्राम दुलरामई की गाटा संख्या 2, रकबा 0.0400 हेक्टेयर में से 200 वर्ग मीटर भूमि पर शिव मंदिर का निर्माण कराया गया था। मंदिर परिसर में ईंटें बिछाकर एक दिव्य शिव दरबार स्थापित किया गया था, जो क्षेत्रीय श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र बन चुका था।
लेकिन दिनांक 14 जुलाई 2025 को, बिना किसी प्रकार की नोटिस या पूर्व चेतावनी के, तहसील प्रशासन जलालाबाद ने बुलडोजर चलवाकर मंदिर परिसर को पूरी तरह ध्वस्त कर दिया। मंदिर के पुजारी को भी इसकी कोई पूर्व सूचना नहीं दी गई।
प्रार्थी के अनुसार, यह कार्रवाई अजीत पुत्र रामसरन निवासी दुलरामई द्वारा की गई एक रंजिशपूर्ण फर्जी शिकायत के आधार पर की गई। उन्होंने आरोप लगाया कि बिना किसी कानूनी प्रक्रिया का पालन किए मंदिर परिसर ढहाया जाना धार्मिक भावनाओं का घोर अपमान है और यह संविधान व विधि के विपरीत है।प्रार्थी ने जिलाधिकारी से मांग की है कि इस पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच कराई जाए, दोषी अधिकारियों के विरुद्ध विधिक कार्रवाई की जाए तथा शिव मंदिर परिसर की पुनः मरम्मत व पुनर्निर्माण की व्यवस्था की जाए।
अरविंद कुमार ने यह भी चेतावनी दी है कि यदि न्यायोचित कार्रवाई नहीं की गई, तो वे सामाजिक संगठनों की सहायता लेने और आगे आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगे।यह प्रकरण स्थानीय स्तर पर गहरी नाराजगी और धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाला बन गया है, जिसकी निष्पक्ष जांच की मांग ज़ोर पकड़ रही है।
तहसीलदार जलालाबाद पैगाम हैदर
तहसीलदार जलालाबाद पैगाम हैदर ने बताया कि नवीन परती की जमीन पर अस्थाई अवैध कब्जा किए हुए हैं 2023 में राजस्व टीम ने कब्जा हटाया था। उसके बाद इन्होंने ने फिर कब्जा कर लिया जिस जमीन का विवाद है उसके पास में ही शिव मंदिर की इन्होंने स्थापना की है, शिकायतकर्ता अनिल कुमार के द्वारा हाई कोर्ट में एक रिट याचिका दायर की जिसके निस्तारण के लिए आमरास्ता खुलवाने के लिए पुलिस एवं राज्य टीम ने अतिक्रमण हटाया है आम रास्ते को खोला गया है, मंदिर को कोई भी क्षति नही पहुँचायी गई है। लगाए गए सभी आरोप निराधार है।
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