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निजीकरण के खिलाफ प्रदर्शन करते बिजली कर्मचारी Photograph: (VKSSUP)
लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता। विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ने बिजली की वर्टिकल व्यवस्था लागू होने से लखनऊ समेत चार शहरों में तीन हजार से ज्यादा नियमित पद कम होने और हजारों संविदा कर्मियों को नौकरी से हटाए जाने का दावा किया है। समिति ने आरोप लगाया कि ऑल इंडिया डिस्कॉम एसोसिएशन के सुझाव पर सिर्फ निजीकरण को बढ़ावा देने के लिए यह व्यवस्था लाई गई है। महाराष्ट्र में इसका विरोध शुरू हो गया है। वहां बिजली कर्मचारी सड़कों पर उतर आए हैं और हड़ताल की नोटिस दी है।
इन शहरों में वर्टिकल व्यवस्था को मंजूरी
समिति के अनुसार, बिजली कंपनियों के निजीकरण के विरोध में विगत 10 महीने से अधिक समय से चल रहे आंदोलन से खीझा हुआ पावर कारपोरेशन प्रबंधन अब कई शहरों की बिजली व्यवस्था रिस्ट्रक्चरिंग कर अर्बन डिस्ट्रीब्यूशन फ्रेंचाइजी को देने जा रहा है। इसके तहत केस्को, अलीगढ़, मेरठ, बरेली, लेसा, गाजियाबाद, मुरादाबाद, नोएडा और सहारनपुर की बिजली वितरण व्यवस्था के वर्टिकल रिस्ट्रक्चरिंग के प्रस्ताव को बोर्ड ऑफ डायरेक्टर से मंजूरी मिल चुकी है।
महाराष्ट्र में वर्टिकल व्यवस्था का विरोध
डिस्कॉम एसोसिएशन, टाटा पावर और निजी कंपनियों की मदद से चार-पांच नवंबर को मुंबई में डिस्ट्रीब्यूशन यूटिलिटी मीट का आयोजन कर रही है। महाराष्ट्र में भी इस आयोजन के पहले रिस्ट्रक्चरिंग का प्रस्ताव सामने आया है। जिसका बिजली कर्मचारियों ने विरोध शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा कि वर्टिकल व्यवस्था के नाम पर बड़े पैमाने पर स्वीकृत पदों की संख्या घटाई जा रही है। अर्बन डिस्ट्रीब्यूशन फ्रेंचाइजी के बाद बिजली कर्मी, जूनियर इंजीनियर और अभियंता सरप्लस हो जाएंगे। हजारों की संख्या में संविदा कर्मियों की नौकरी जाएगी। क्योंकि निजी फ्रेंचाइजी संविदा कर्मियों और नियमित कर्मचारियों को अपने यहां नहीं रखती।
निजीकरण के विरोध में आंदोलन जारी
समिति के संयोजक शैलेन्द्र दुबे ने कहा कि वर्टिकल रिस्ट्रक्चरिंग के बाद केस्को में 325 पद, मेरठ 487, बरेली 372 और लेसा में 2055 पद कम हो जाएंगे। इसके अतिरिक्त संविदा कर्मियों के हजारों पद समाप्त हो जाएंगे और उनकी नौकरी खतरे में पड़ जाएगी। उन्होंने बताया कि निजीकरण के विरोध में चल रहे आंदोलन के 306 दिन आज वाराणसी, आगरा, मेरठ, कानपुर, गोरखपुर, मिर्जापुर, आजमगढ़, बस्ती, अलीगढ़, मथुरा, एटा, झांसी, बांदा, बरेली, देवीपाटन, अयोध्या, सुल्तानपुर, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बुलंदशहर, नोएडा, गाजियाबाद, मुरादाबाद में बिजली कर्मियों ने प्रदर्शन किया।
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