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वध ओझा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को उनके बयानों घेर। Photograph: (YBN)
लखनऊ, वाईबीएन संवाददाता।आम आदमी पार्टी (AAP) नेता और प्रख्यात शिक्षाविद् अवध ओझा (Avadh Ojha) ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को उनके बयानों को लेकर घेरा है। उन्होंने कहा कि देश के प्रधानमंत्री की कुर्सी पर बैठे नरेंद्र मोदी जिस तरह के बयान देते हैं वह तथ्यों से परे हैं और समझ से बाहर हैं। प्रधानमंत्री नाले के गैस से चूल्हा जलाने की बात करते हैं। उनका A प्लस B पूर्ण वर्ग का सूत्र सुनकर आर्य भट्ट की आत्मा कांप गई होगी। ओझा ने कहा कि ऐसी बातें करना प्रधानमंत्री को शोभा नहीं देता है। इससे वह खुद और देश की गिरमा को दुनिया में गिराते हैं।
देश की आधी संपत्ति एक प्रतिशत लोगों के पास
अवध ओझा ने बुधवार को लखनऊ में संवाददाताओं से बातचीत में बुधवार को कहा कि ऑपरेशन सिंदूर को लेकर पीएम ने एक बयान दिया है जिसमें उन्होंने कहा कि मेरी नसों में खून की जगह सिंदूर बह रहा है। जबकि वास्तविकता यह है कि सिंदूर में लेड यानी सीसा होता है, जोकि एक जहरीला पदार्थ है। क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी जनता को यह संदेश देना चाहते हैं कि वह देश के लिए जहर बन गए हैं। ऐसे में देशवासियों को प्रधानमंत्री का इशारा समझते हुए जहर से दूर रहना चाहिए। प्रधानमंत्री के चौथी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के दावे पर चुटकी लेते हुए अवध ओझा ने कहा कि पूरे देश की आधी संपत्ति सिर्फ एक प्रतिशत लोगों के पास है। तो अगर चौथी अर्थव्यवस्था बनी हुई होगी तो उसका आम जनता को कहां से फायदा होगा?
खिलौने आयात करते हैं, मगर बना नहीं पाते
प्रख्यात शिक्षाविद् अवध ओझा ने कहा कि भारत सबसे ज्यादा खिलौना आयात करता है। लेकिन हम खिलाने ही नहीं बना पा रहे हैं। हम मक्के का उत्पादन करते हैं पर कार्न फ्लेक्स नहीं बना पा रहे रहे। देश में रोजगार की गारंटी नहीं है। डिलीवरी बॉय की तरह युवा कम कर रहे हैं। उन्होंने देश की शिक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए कहा कि 10 साल के बहुसंख्यक बच्चे अभी भी स्कूल जाने की स्थिति में नहीं है। प्रधानमंत्री के भाषणों से लगता है कि जनता को इशारा कर रहे हैं कि अब देश उनसे नहीं संभाल रहा है। उन्होंने कहा कि देश के 80 प्रतिशत लोग पढ़े लिखे हैं। अगर उनके सामने इस तरह के तथ्यात्मक मजाक किए जाएंगे तो देश की छवि दुनिया में खराब होगी। जनता को इन सभी तथ्यात्मक मजाकों का बहुत ही गंभीरता से संज्ञान लेना चाहिए।
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