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जिलाधिकारी अविनाश सिंह
बरेली, वाईबीएन नेटवर्क। जिले में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता और अनुशासन पर डीएम अविनाश सिंह ने कड़ा शिकंजा कसा। जिला स्वास्थ्य समिति की बैठक में आयुष्मान भारत आरोग्य योजना, टीकाकरण, जननी सुरक्षा और ई-कवच पंजीकरण के कई मामलों की बारीकी से समीक्षा की गई।
डीएम अविनाश सिंह ने सभी सीएचओ की शत-प्रतिशत उपस्थिति सुनिश्चित करने के निर्देश दिए और इसके लिए सभी अधीक्षकों को सीएमओ के माध्यम से पत्र भेजने को कहा। वहीं, शहरी क्षेत्रों की स्वास्थ्य इकाइयों संतनगर, शेरअली गौटिया, कालीबाड़ी और जसोली में टीकाकरण की धीमी गति पर सुधार लाने के लिए भी कड़े कदम उठाने का आदेश दिया गया।
बैठक में यह भी निर्देश दिए गए कि टीकाकरण का विरोध करने वाले परिवारों की सूची जिला पूर्ति अधिकारी को उपलब्ध कराई जाए। जननी सुरक्षा कार्यक्रम की समीक्षा के दौरान सामने आया कि कुछ आशाएं लाभार्थियों को निजी अस्पताल ले जा रही हैं। इस मामले में ग्राम बंजरिया की आशा मनोरमा देवी की सेवा तत्काल प्रभाव से समाप्त कर दी गई। ई-कवच आभा आईडी पंजीकरण में कमी को लेकर डीएम ने नोडल अधिकारी को आदेश दिया कि सभी पोर्टलों से बनी आईडी की जानकारी 10 दिनों के अंदर उपलब्ध कराई जाए।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत शीशगढ़ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में तैनात संविदा स्टाफ नर्स सुमनलता और एएनएम पूनम देवी के खिलाफ शिकायत की जांच में दोनों को दोषी पाया गया। इसके बाद डीएम ने सुमनलता की सेवा समाप्त करने और पूनम देवी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई के आदेश दिए। सीएमओ विश्राम सिंह ने बताया कि यह कदम स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार और भ्रष्टाचार मुक्त माहौल बनाने के लिए उठाए गए हैं।
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